माँ अपने द्वितीय स्वरूप में <nis:link nis:type=tag nis:id=ब्रह्मचारिणी nis:value=ब्रह्मचारिणी nis:enabled=true nis:link/> के रूप में जानी जाती हैं। ब्रह्म का अर्थ है,तपस्या, तप का आचरण करने वाली भगवती, जिस कारण उन्हें ब्रह्मचारिणी कहा गया। माँ का स्वरूप पूर्ण ज्योतिर्मय एवं अत्यन्त भव्य है।
1.4k views | Katangi, Balaghat | Sep 27, 2022