*🚩“गुरु— जो जीवन के केवल उपदेशक नहीं, अपितु पथप्रदर्शक होते हैं।*
*जिनकी दृष्टि में करुणा होती है, और सन्निधि में दिशा।”*
*गुरु पूर्णिमा का यह पावन पर्व, उस दिव्य सत्ता को प्रणाम करने का दिन है, जो अज्ञान के अंधकार में दीपक बनकर है।
6.9k views | Katangi, Balaghat | Jul 10, 2025