आज़ादी के महासंग्राम में जब गांधी, नेहरू, नेताजी, भगत सिंह, सरदार पटेल, मौलाना आज़ाद जब सब कुछ दाँव पर लगा कर लड़ रहे थे तब सावरकर माफ़ीनामा लिख रहे थे