शैलेंद्र जैन ने रविवार दोपहर साढ़े 12 बजे बताया कि गांव धीर जी का खेड़ा में वानर राज के निधन के बाद पूरे क्षेत्र में गम का माहौल बन गया। ग्रामीणों ने बैंड-बाजों की धुन के साथ अंतिम यात्रा निकाली और पूरे विधि-विधान से वानर राज का अंतिम संस्कार किया। विशेष बात यह रही कि श्राद्ध पक्ष के प्रथम दिन हुए निधन के बाद अनेक युवाओं ने अपने कान केश दिए और शोक प्रकट करते