छात्र घनेंद्र साहू ने बताया इस तरह कुलर को तैयार करने में कबाड़ में पड़े हुए पंखा, पुरानी ड्रम, लकड़ी का टुकड़ा, खस, पुरानी वायर, तार जाली, स्विच बोर्ड तथा पाइप का उपयोग किया है। आने वाले दिनों में बैटरी से चलने वाली साइकिल को तैयार करने की योजना बनाई है, इसके लिए उन्होंने तैयारीयां भी शुरू कर ली है।